वफ़ा पर कहे गए शेर
इश्क करना, नहीं आसान, बहुत मुश्किल है
छाती पत्थर की है उनकी, जो वफ़ा करते है
- मीर तक़ी मीर
हमको उनसे वफ़ा की है उम्मीद
जो नहीं जानते वफ़ा क्या है
- मिर्ज़ा ग़ालिब
मै भी कुछ खुश नहीं वफ़ा करके
तुमने अच्छा किया निबाह न की
- मोमिन खान मोमिन
वफ़ा जिस से की, बे वफ़ा हो गया
जिसे बुत बनाया, खुदा हो गया
- ज़ौक देहलवी
उड़ गई यूँ वफ़ा ज़माने से
कभी गोया किसी में थी ही नहीं
- दाग़ देहलवी
जो सजा दीजे, है बजा मुझको
तुझसे करनी न थी वफ़ा मुझको
- असर लखनवी
उसने बिगड के मुझसे कहा बात-बात में
रोते नहीं यु अहले वफ़ा बात बात में
- परवेज वारिस
शहरे वफ़ा का आज ये कैसा रिवाज़ है
मतलब परस्त अपनों का खालिस मिजाज़ है
- चाँद शेरी
दर्दे-दिल, दर्दे-वफ़ा, दर्दे-तमन्ना क्या है
आप क्या जानें मोहब्बत का तकाज़ा क्या है
- जाँ निसार अख्तर
यही वफ़ा का सिला है तो कोई बात नहीं,
ये दर्द तूने दिया है तो कोई बात नहीं
- राज़ इलाहाबादी
ये वफ़ा की सख्त राहे, ये तुम्हारे पाँव नाज़ुक
न लों इन्तिकाम मुझसे, मिरे साथ-साथ चल के
- खुमार बाराम्बकवी
फरेब खाने को पेशा बना लिया हमने
जब एक बार वफ़ा का फ़रेब खा बैठे
- अहमद नदीम कासमी
मैंने दिल दे कर उसे की थी वफ़ा की इब्तिदा
उसने धोखा दे के ये किस्सा मुकम्मल कर दिया
शहर में चर्चा है आख़िर ऐसी लड़की कौन है
जिसने अच्छे खासे एक शायर को पागल कर दिया।
- राहत इंदौरी
ये सिखाया है दोस्ती ने हमें
दोस्त बन कर कभी वफ़ा न करो
- सुदर्शन फ़ाकिर
प्यार, मोहब्बत, अहद-ओ-वफ़ा
सब कुछ कारो-बारी है
- रईस सिद्दीकी
मुझसे क्या हो सका, वफ़ा के सिवा
मुझसे मिलता भी क्या, सजा के सिवा
- हफीज़ जालंधरी
वफ़ा के नाम पे तुम क्यूँ संभल के बैठ गए
तुम्हारी बात नहीं, बात है ज़माने की
- मजरूह सुल्तानपुरी
छाती पत्थर की है उनकी, जो वफ़ा करते है
- मीर तक़ी मीर
हमको उनसे वफ़ा की है उम्मीद
जो नहीं जानते वफ़ा क्या है
- मिर्ज़ा ग़ालिब
मै भी कुछ खुश नहीं वफ़ा करके
तुमने अच्छा किया निबाह न की
- मोमिन खान मोमिन
वफ़ा जिस से की, बे वफ़ा हो गया
जिसे बुत बनाया, खुदा हो गया
- ज़ौक देहलवी
उड़ गई यूँ वफ़ा ज़माने से
कभी गोया किसी में थी ही नहीं
- दाग़ देहलवी
जो सजा दीजे, है बजा मुझको
तुझसे करनी न थी वफ़ा मुझको
- असर लखनवी
उसने बिगड के मुझसे कहा बात-बात में
रोते नहीं यु अहले वफ़ा बात बात में
- परवेज वारिस
शहरे वफ़ा का आज ये कैसा रिवाज़ है
मतलब परस्त अपनों का खालिस मिजाज़ है
- चाँद शेरी
दर्दे-दिल, दर्दे-वफ़ा, दर्दे-तमन्ना क्या है
आप क्या जानें मोहब्बत का तकाज़ा क्या है
- जाँ निसार अख्तर
यही वफ़ा का सिला है तो कोई बात नहीं,
ये दर्द तूने दिया है तो कोई बात नहीं
- राज़ इलाहाबादी
ये वफ़ा की सख्त राहे, ये तुम्हारे पाँव नाज़ुक
न लों इन्तिकाम मुझसे, मिरे साथ-साथ चल के
- खुमार बाराम्बकवी
फरेब खाने को पेशा बना लिया हमने
जब एक बार वफ़ा का फ़रेब खा बैठे
- अहमद नदीम कासमी
मैंने दिल दे कर उसे की थी वफ़ा की इब्तिदा
उसने धोखा दे के ये किस्सा मुकम्मल कर दिया
शहर में चर्चा है आख़िर ऐसी लड़की कौन है
जिसने अच्छे खासे एक शायर को पागल कर दिया।
- राहत इंदौरी
ये सिखाया है दोस्ती ने हमें
दोस्त बन कर कभी वफ़ा न करो
- सुदर्शन फ़ाकिर
प्यार, मोहब्बत, अहद-ओ-वफ़ा
सब कुछ कारो-बारी है
- रईस सिद्दीकी
मुझसे क्या हो सका, वफ़ा के सिवा
मुझसे मिलता भी क्या, सजा के सिवा
- हफीज़ जालंधरी
वफ़ा के नाम पे तुम क्यूँ संभल के बैठ गए
तुम्हारी बात नहीं, बात है ज़माने की
- मजरूह सुल्तानपुरी