कोई हसीन सा नुक़्ता निकाल देता है
कोई हसीन सा नुक़्ता निकाल देता हैअजीब शख्स है बातो में टाल देता है
अब और इससे ज्यादा जवाब क्या देगा
मेरे खुतूत वह दरिया में दाल देता है
हजार फासले होने के बावजूद हमें
बड़ा सुकून किसी का ख्याल देता है
अजब हुनर उसे आता है बेवफाई का
वह एक लम्हे को सदियों में ढाल देता है
जो मछलियों को सिखाता है तैरना निकहत
वही तो है, जो मछेरो को जाल देता है - नसीम निकहत
koi haseen sa nukta nikal deta hai
koi haseen sa nukta nikal deta haiajeeb shakhs hai baato me tal deta hai
ab aur isse jyada jwab kya dega
mere khutut wah dariya me dal deta hai
hajaar fasle hone ke bawjud hame
bada sukun kisi ka khyal deta hai
ajab hunar use aata hai bewafai ka
wah ek lamhe ko sadiyo me dhaal deta hai
jo machhliyo ko sikhata hai tairna nikhat
wahi to hai, jo machhero ko jaal deta hai - Naseem Nikhat
बहुत बहुत सुन्दर..
वाह बहुत खूबसूरत गज़ल ....